ज़िन्दगी की जद्दोजहद तो चलती रहेगी।
रोज़ वही सांसें लेकर,
ऊब नहीं जाते?
कभी हवा बदल कर देखिये,
सांसें नई सी लगेंगी।
बाकी,
ज़िन्दगी की जद्दोजहद तो चलती रहेगी।
हर रोज़ रात को सोना, सुबह उठना,
कितना नीरस लगता है ।
कभी नींद को टालकर देखो,
तारों की सांगत अच्छी लगेगी
कितना नीरस लगता है ।
कभी नींद को टालकर देखो,
तारों की सांगत अच्छी लगेगी
बाकी,
ज़िन्दगी की जद्दोजहद तो चलती रहेगी।
२ हफ़्तों की ड्यूटी के बाद,
चाँद भी आराम फ़रमाता है ।
कुछ पल चुराके, ज़रा सुस्ता लो,
अंगड़ाइयां अच्छी लगेंगी ।
बाकी,
ज़िन्दगी की जद्दोजहद तो चलती रहेगी।
"मेरा काम अहम है,
यह छुट्टियां फ़िज़ूल है उसके आगे । "
ऐसे ख्याल जो ज़हन में आता हो,
तो आराम आपके लिए है, और भी ज़रूरी ।
बाकी,
ज़िन्दगी की जद्दोजहद तो चलती रहेगी।
याद है? वो गर्मी की छुट्टियां,
उतनी लम्बी ज़मानत तो नहीं मिल सकती ।
उतनी लम्बी ज़मानत तो नहीं मिल सकती ।
अर्ज़ियाँ बेहिचक दायर कीजिए ,
छोटी मोटी राहतें तो मिलती रहेगी ।
बाकी,
ज़िन्दगी की जद्दोजहद तो चलती रहेगी।
ReplyDeleteCongratulations! Your blog post was selected for Tangy Tuesday Picks edition on Feb 23, 2016 at BlogAdda.
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सही कहा आपने जिन्दगी की भाग दौड़ लगी ही रहती है .बहुत सुंदर मेरी ब्लॉग पर आप का स्वागत है .
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